मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा में 11 बच्चों की खाँसी की दवा Coldrif के सेवन से मौत

MP Chhindwara Coldrif Syrup: एमपी छिंदवाड़ा कोल्ड्रिफ सिरप त्रासदी, 11 बच्चों की मौत, एफआईआर दर्ज
MP Chhindwara Coldrif Syrup: एमपी छिंदवाड़ा कोल्ड्रिफ सिरप त्रासदी, 11 बच्चों की मौत, एफआईआर दर्ज
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मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में खाँसी की दवा Coldrif syrup के सेवन के बाद 11 मासूम बच्चों की दुखद मौत ने पूरे राज्य को स्तब्ध कर दिया है। इस मामले में राज्य सरकार ने सख्त कार्रवाई करते हुए डॉक्टर और दवा निर्माता कंपनी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करवाई है।

सूचना के अनुसार, मृत बच्चों में अधिकतर की उम्र छह वर्ष से कम बताई जा रही है। बच्चों के परिजनों के अनुसार, यह दवा बच्चों की खाँसी और जुकाम के इलाज के लिए दी गई थी, लेकिन इसके सेवन के बाद उनकी हालत बिगड़ गई और अस्पताल पहुँचने से पहले ही कुछ की मौत हो गई।

सरकारी अधिकारियों ने बताया कि मामले की जांच के लिए विशेष जांच टीम (SIT) का गठन किया गया है। पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए डॉ. प्रवीन सोनी को गिरफ्तार कर लिया है। इसके अलावा, दवा बनाने वाली श्रीशान फार्मास्यूटिकल्स (तमिलनाडु) के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है। SIT अब तमिलनाडु में दवा निर्माण इकाई की जांच करेगी।

सुरक्षा और जांच रिपोर्ट के अनुसार, Coldrif सिरप में पाया गया हानिकारक डाइएथिलीन ग्लाइकोल (Diethylene Glycol) का स्तर 48.6% था, जो मानव स्वास्थ्य के लिए अत्यंत खतरनाक है। विशेषज्ञों के अनुसार, यह रसायन किडनी और लिवर पर गहरा असर डाल सकता है और छोटे बच्चों के लिए जानलेवा साबित होता है।

इस मामले पर राज्य स्वास्थ्य विभाग ने स्पष्ट किया कि बच्चों की मौत से जुड़े सभी पहलुओं की पूरी तरह से जांच की जाएगी और दोषियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी। स्वास्थ्य मंत्री ने भी घटनास्थल का दौरा किया और परिजनों को सभी आवश्यक सहायता देने का आश्वासन दिया।

स्थानीय अस्पतालों में भर्ती बच्चों की स्थिति पर नजर रखी जा रही है। साथ ही, स्वास्थ्य विभाग ने कहा कि Coldrif दवा के अन्य बैचों को तुरंत बाजार से वापस लिया जाएगा ताकि और कोई नुकसान न हो।

महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश सहित आसपास के राज्यों के विशेषज्ञों का मानना है कि डाइएथिलीन ग्लाइकोल जैसी रसायनयुक्त दवाओं का सेवन गंभीर जटिलताएँ पैदा करता है। इसके सेवन से गंभीर विषाक्तता, किडनी फेल्योर, लिवर डिसफंक्शन और मौत तक हो सकती है।

पुलिस और SIT की जांच के अनुसार, दवा निर्माता कंपनी की ओर से गुणवत्ता नियंत्रण में गंभीर चूक हुई है। अधिकारी कह रहे हैं कि जांच पूरी होने के बाद दवा कंपनी और संबंधित डॉक्टर के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के साथ-साथ सख्त दंड भी लगाया जाएगा।

मामले की गंभीरता को देखते हुए राज्य सरकार ने सभी अस्पतालों और फार्मेसियों को निर्देश दिए हैं कि Coldrif सिरप के किसी भी बैच को तुरंत वापिस किया जाए और इसके सेवन से संबंधित चेतावनी जारी की जाए।

इस त्रासदी ने स्वास्थ्य सुरक्षा और बच्चों के लिए सुरक्षित दवाओं की उपलब्धता के महत्व पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों ने कहा कि दवा निर्माण में गुणवत्ता मानकों का पालन सुनिश्चित करना अति आवश्यक है ताकि भविष्य में ऐसी दुर्घटनाओं को रोका जा सके।

छिंदवाड़ा जिले के इस हादसे ने समाज को झकझोर दिया है। प्रभावित परिवारों को मानसिक और वित्तीय सहायता देने के लिए राज्य सरकार ने राहत पैकेज की भी घोषणा की है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे संदिग्ध दवाओं का सेवन न करें और किसी भी असामान्य लक्षण की स्थिति में तुरंत अस्पताल पहुँचें।

इस मामले में SIT की जांच पूरी होने के बाद दोषियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज किए जाएंगे और जिम्मेदार अधिकारियों तथा कंपनी के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। बच्चों की सुरक्षा और भविष्य के लिए यह कदम अत्यंत आवश्यक माना जा रहा है।


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Aryan Ambastha

Writer & Thinker | Finance & Emerging Tech Enthusiast | Politics & News Analyst | Content Creator. Nalanda University Graduate with a passion for exploring the intersections of technology, finance, Politics and society. | Email: aryan.ambastha@rashtrabharat.com