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साल का आखिरी ‘मन की बात’: पीएम मोदी ने गिनाईं 2025 की बड़ी उपलब्धियां, ऑपरेशन सिंदूर को बताया राष्ट्रीय गर्व

Mann ki Baat
Mann ki Baat (Pic Credit- AIR)
मन की बात के 129वें एपिसोड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2025 को भारत के लिए गर्व और आत्मविश्वास का वर्ष बताया। ऑपरेशन सिंदूर, खेल उपलब्धियां, अंतरिक्ष मिशन, संस्कृति, स्वदेशी सोच और युवाओं की भूमिका पर उन्होंने विस्तार से चर्चा की।
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Mann ki Baat: 2025 साल के आखिरी रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ के 129वें एपिसोड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज देशवासियों से दिल से संवाद किया। इस एपिसोड में उन्होंने वर्ष 2025 को भारत के लिए गर्व, उपलब्धियों और आत्मविश्वास का प्रतीक बताया। प्रधानमंत्री के शब्दों में, 2025 ने ऐसे कई क्षण दिए, जिन्होंने हर भारतीय का सिर गर्व से ऊंचा कर दिया।

प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में सुरक्षा, खेल, विज्ञान, अंतरिक्ष, पर्यावरण, संस्कृति, आस्था और स्वदेशी सोच जैसे विषयों को एक सूत्र में पिरोते हुए देश की सामूहिक प्रगति की तस्वीर सामने रखी।

2025: उपलब्धियों से भरा भारत का गौरवशाली अध्याय

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वर्ष 2025 भारत के इतिहास में एक विशेष अध्याय के रूप में दर्ज होगा। यह साल केवल घटनाओं का संग्रह नहीं, बल्कि भारत की बदलती पहचान का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि आज का भारत अपने फैसले खुद लेता है और अपनी सुरक्षा, संस्कृति व आत्मसम्मान से कोई समझौता नहीं करता।

ऑपरेशन सिंदूर बना राष्ट्रीय गर्व का प्रतीक

प्रधानमंत्री ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का विशेष उल्लेख करते हुए कहा कि यह हर भारतीय के लिए गर्व का प्रतीक बन गया है। इस अभियान ने दुनिया को स्पष्ट संदेश दिया कि भारत अपनी सुरक्षा के मामले में किसी भी तरह का समझौता नहीं करता। उन्होंने कहा कि इस ऑपरेशन के दौरान देश और विदेश से भारत माता के प्रति प्रेम और सम्मान की तस्वीरें सामने आईं, जो हर नागरिक के दिल को छू गईं।

खेल के मैदान से दुनिया तक भारत की जीत

मन की बात में खेल उपलब्धियों पर चर्चा करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि 2025 खेल जगत के लिए भी ऐतिहासिक रहा। भारतीय पुरुष क्रिकेट टीम ने आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी जीतकर देश को गौरवान्वित किया। महिला क्रिकेट टीम ने पहली बार विश्व कप जीतकर इतिहास रच दिया। इसके साथ ही महिला ब्लाइंड टी20 विश्व कप में भारत की जीत ने यह साबित कर दिया कि जज्बा और मेहनत के आगे कोई भी बाधा टिक नहीं सकती।

प्रधानमंत्री ने पैरा-एथलीट्स की भी सराहना की और कहा कि विश्व चैंपियनशिप में जीते गए पदक भारत की दृढ़ इच्छाशक्ति का प्रमाण हैं।

विज्ञान और अंतरिक्ष में भारत की बड़ी छलांग

प्रधानमंत्री मोदी ने विज्ञान और अंतरिक्ष के क्षेत्र में भारत की उपलब्धियों को भी रेखांकित किया। उन्होंने बताया कि शुभांशु शुक्ला इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन पहुंचने वाले पहले भारतीय बने, जो पूरे देश के लिए गर्व की बात है। यह उपलब्धि भारत की वैज्ञानिक क्षमता और युवाओं की प्रतिभा का परिचायक है।

पर्यावरण और वन्यजीव संरक्षण की दिशा में मजबूत कदम

पर्यावरण संरक्षण की चर्चा करते हुए प्रधानमंत्री ने बताया कि 2025 में इस क्षेत्र में भी कई अहम पहल हुईं। उन्होंने खुशी जताई कि भारत में चीतों की संख्या अब 30 से अधिक हो चुकी है। यह संकेत है कि देश वन्यजीव संरक्षण को लेकर गंभीर है और प्रकृति के साथ संतुलन बनाकर आगे बढ़ रहा है।

आस्था, संस्कृति और विरासत ने जोड़ा देश

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 2025 में भारत की आस्था और संस्कृति ने भी पूरी दुनिया का ध्यान खींचा। साल की शुरुआत प्रयागराज महाकुंभ से हुई, जिसने वैश्विक स्तर पर भारत की सांस्कृतिक शक्ति को दिखाया। वहीं साल के अंत में अयोध्या में राम मंदिर में ध्वजारोहण की रस्म ने हर भारतीय को भावुक और गर्वित कर दिया।

स्वदेशी सोच से मजबूत हुआ आत्मनिर्भर भारत

प्रधानमंत्री ने स्वदेशी उत्पादों को लेकर बढ़ते उत्साह पर भी बात की। उन्होंने कहा कि आज लोग गर्व के साथ भारतीय मेहनत से बने उत्पादों को चुन रहे हैं। यह बदलाव केवल बाजार का नहीं, बल्कि सोच का है। 2025 ने भारत को और अधिक आत्मनिर्भर और आत्मविश्वासी बनाया है।

युवाओं से सीधा संवाद और विकसित भारत का सपना

प्रधानमंत्री मोदी ने युवाओं का जिक्र करते हुए कहा कि कई युवा उनसे अपने विचार साझा करने का तरीका पूछते हैं। इसके समाधान के रूप में उन्होंने ‘विकसित भारत यंग लीडर्स डायलॉग’ का उल्लेख किया। उन्होंने बताया कि 12 जनवरी को स्वामी विवेकानंद जयंती और राष्ट्रीय युवा दिवस के अवसर पर यह संवाद आयोजित होगा, जिसमें वे स्वयं हिस्सा लेंगे।

प्रधानमंत्री ने कहा कि युवाओं के विचार ही विकसित भारत की असली नींव हैं।

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Dipali Kumari

दीपाली कुमारी पिछले तीन वर्षों से सक्रिय पत्रकारिता में कार्यरत हैं। उन्होंने रांची के गोस्सनर कॉलेज से स्नातक की शिक्षा प्राप्त की है। सामाजिक सरोकारों, जन-जागरूकता और जमीनी मुद्दों पर लिखने में उनकी विशेष रुचि है। आम लोगों की आवाज़ को मुख्यधारा तक पहुँचाना और समाज से जुड़े महत्वपूर्ण प्रश्नों को धारदार लेखन के माध्यम से सामने लाना उनका प्रमुख लक्ष्य है।