सीतामढ़ी।
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 का बिगुल बज चुका है और सीतामढ़ी का राजनीतिक परिदृश्य पूरी तरह चुनावी रंग में रंगा हुआ है। यहां के मतदाताओं के बीच दो प्रमुख मुद्दे सबसे अधिक चर्चा में हैं – पुनौराधाम स्थित मां जानकी मंदिर का विकास और रीगा चीनी मिल का पुनः संचालन। इन दोनों ही उपलब्धियों को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) अपने चुनावी प्रचार का केंद्र बना रहा है।
बीते लोकसभा चुनाव के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सीतामढ़ी की सभा में वादा किया था कि रीगा चीनी मिल को फिर से चालू किया जाएगा और पुनौराधाम मंदिर को अयोध्या के श्रीराम मंदिर की तर्ज पर विकसित किया जाएगा। चुनाव के बाद दोनों वादे पूरे भी हुए। चीनी मिल का संचालन पुनः शुरू हो चुका है और मंदिर के जीर्णोद्धार एवं आधारभूत संरचना के लिए 890 करोड़ रुपये स्वीकृत किए जा चुके हैं। इनमें से 137 करोड़ मंदिर जीर्णोद्धार पर और 638 करोड़ परिक्रमा पथ सहित अन्य संरचनाओं पर खर्च होंगे।
इन विकास कार्यों ने स्थानीय जनता के बीच उत्साह का माहौल बना दिया है। किसान, व्यापारी, मजदूर और धार्मिक आस्था से जुड़े लोग इसे अपने भविष्य की समृद्धि और आस्था की जीत के रूप में देख रहे हैं।
किसानों के चेहरे पर लौटी मुस्कान
रीगा चीनी मिल लंबे समय से बंद पड़ी थी, जिसके कारण गन्ना किसानों की आर्थिक स्थिति बदतर हो गई थी। सीतामढ़ी और शिवहर जिले के गन्ना उत्पादक किसान आंदोलन कर चुके थे। लेकिन अब चीनी मिल के चालू होने से किसानों की आय में वृद्धि हुई है। किसान नेता चंदेश्वर पूर्वे कहते हैं – “रीगा चीनी मिल से किसान का भाग्य जगा है। उचित गन्ना मूल्य निर्धारण से आय बढ़ी है और वर्षों की मांग पूरी हुई है।”
धार्मिक आस्था और पर्यटन से जुड़ा मुद्दा
पुनौराधाम स्थित मां जानकी जन्मभूमि मंदिर का विकास न सिर्फ सीतामढ़ी बल्कि पूरे मिथिलांचल के लिए गौरव का विषय माना जा रहा है। महंत कौशल किशोर दास ने कहा – “अयोध्या दर्शन के बाद अब भक्त पुनौराधाम में सीता माता का आशीर्वाद लेने आएंगे। इससे धार्मिक आस्था और पर्यटन दोनों को मजबूती मिलेगी।”
मंदिर परिसर के दुकानदार श्रवण कुमार बताते हैं कि विकास कार्यों से यहां पर्यटक आएंगे तो व्यापारियों की आय बढ़ेगी। वहीं, व्यवसायी संघ के जिलाध्यक्ष राजेश कुमार सुंदरका का कहना है कि “मंदिर के विकास से रोजगार के नए अवसर मिलेंगे और सीतामढ़ी आर्थिक रूप से समृद्ध बनेगा।”
एनडीए का चुनावी हथियार
सीतामढ़ी जिले की आठ विधानसभा सीटों में से छह पर NDA और दो पर राजद का कब्जा है। NDA नेताओं का मानना है कि चीनी मिल और मंदिर विकास के मुद्दे से उन्हें चुनावी लाभ मिलेगा। जदयू नेता नागेंद्र प्रसाद सिंह कहते हैं – “रीगा मिल से किसान, मजदूर, व्यापारी और यहां तक कि रिक्शा-ठेला चालक तक लाभान्वित हो रहे हैं। वहीं जानकी जन्मभूमि का विकास करोड़ों लोगों की आस्था से जुड़ा है। इसका सीधा फायदा NDA प्रत्याशी को मिलेगा।”
भाजपा मंडल अध्यक्ष अंशुल प्रकाश का दावा है कि “रीगा मिल और जानकी मंदिर का विकास NDA की सबसे बड़ी उपलब्धि है। इससे किसान की समृद्धि और पर्यटन के विस्तार दोनों का सपना पूरा होगा।”
मतदाताओं का रुख
गांव से लेकर शहर तक इन दोनों मुद्दों की चर्चा आम है। लोग मानते हैं कि ये विकास कार्य न सिर्फ धार्मिक आस्था बल्कि आर्थिक और सामाजिक समृद्धि का भी प्रतीक हैं। किसानों और व्यापारियों के बीच NDA के पक्ष में सकारात्मक रुझान दिखाई दे रहा है।
सीतामढ़ी विधानसभा चुनाव 2025 में मां जानकी मंदिर और रीगा चीनी मिल सिर्फ मुद्दे नहीं, बल्कि NDA के लिए जनता से सीधा जुड़ाव और भरोसे का आधार बन गए हैं। मंदिर आस्था की शक्ति को दर्शाता है तो चीनी मिल किसानों की खुशहाली और आर्थिक विकास का प्रतीक है। ऐसे में यह कहना गलत नहीं होगा कि सीतामढ़ी की चुनावी जंग इन दोनों मुद्दों के इर्द-गिर्द ही लड़ी जाएगी और इसका फायदा NDA को मिलने की संभावना प्रबल है।