दिल्ली एनसीआर में प्रदूषण नियंत्रण हेतु ग्रैप नियमों में व्यापक संशोधन
दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए एक बड़ा प्रशासनिक और नीतिगत परिवर्तन किया गया है। वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (ग्रैप) में व्यापक संशोधन करते हुए प्रदूषण से निपटने के उपायों को अब एक स्तर पहले लागू करने का निर्णय लिया है। इस बदलाव के तहत, जो प्रतिबंध अब तक बेहद खराब एक्यूआई स्थिति यानी ग्रैप-IV के दौरान लागू किए जाते थे, वे अब ग्रैप-III स्तर पर ही लागू कर दिए जाएंगे। इससे प्रतीत होता है कि सरकार के स्तर पर प्रदूषण नियंत्रण के प्रति गंभीरता पहले से कहीं अधिक बढ़ गई है।
प्रदूषण नियंत्रण उपाय अब पहले ही चरण में लागू
सीएक्यूएम के ताजा निर्णय के तहत अब प्रदूषण की गंभीरता के आधार पर लागू किए जाने वाले प्रावधान समय से पहले लागू होंगे। पहले जहां लोग यह मानकर चलते थे कि अत्यधिक खराब एक्यूआई स्तर की स्थिति बनने पर ही सख्त कदम उठाए जाएंगे, अब परिस्थितियां थोड़ी बेहतर होने पर भी कठोर कार्रवाई तुरंत शुरू हो जाएगी। उदाहरणस्वरूप, ग्रैप-IV के तहत लागू होने वाले प्रतिबंध, जैसे निर्माण कार्यों पर व्यापक रोक, डीजल जेनरेटरों का संचालन बंद करना, संबंधित विभागों में वर्क फ्रॉम होम की व्यवस्था को बढ़ावा देना आदि अब ग्रैप-III स्तर पर लागू होंगे।
सरकारी और निजी दफ्तरों में कार्य प्रणाली में परिवर्तन
इस बदलाव के अनुसार अब राज्य सरकारें इस बात पर विचार करेंगी कि सरकारी, निजी और नगर निगम कार्यालयों में 50 प्रतिशत कर्मचारियों को घर से काम करने के विकल्प के तहत कार्य करने के निर्देश दिए जा सकते हैं। साथ ही केंद्र सरकार अपने संबंधित कार्यालयों में कर्मचारियों को वर्क फ्रॉम होम की सुविधा देने पर निर्णय लेगी। यह परिवर्तन प्रशासनिक व्यवस्था के साथ-साथ आम जनता की दिनचर्या को भी प्रभावित करेगा।
बिजली आपूर्ति में बाधा रहित व्यवस्था और जेनरेटर उपयोग पर रोक
सीएक्यूएम के आदेशों के अनुसार अब ग्रैप-I के अंतर्गत बिजली आपूर्ति सुचारू रूप से सुनिश्चित की जाएगी, ताकि आम लोग बिजली कटौती की स्थिति में जेनरेटरों के प्रयोग से बच सकें। जेनरेटर से निकलने वाला धुआं वायु प्रदूषण को अत्यधिक बढ़ाता है, इसलिए बिजली आपूर्ति पर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया गया है। साथ ही जेनरेटर के उपयोग पर पहले से अधिक नियंत्रण लागू होगा।प्रदूषण नियंत्रण उपायों के तहत अब उद्योगों, निर्माण कार्यों और धूल फैलाने वाले गतिविधियों की निगरानी तेज की जाएगी। विशेष रूप से ईंट भट्टों, स्टोन क्रशर और डीजल जनरेटरों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही, निर्माण स्थलों पर एंटी-स्मॉग गन और धूल नियंत्रण तंत्र अनिवार्य किया जाएगा। सरकार ने यह भी स्पष्ट किया है कि नियमों का उल्लंघन करने पर भारी जुर्माना और लाइसेंस निरस्तीकरण की कार्रवाई की जाएगी।
ट्रैफिक जाम कम करने हेतु सख्त कदम
एयर क्वालिटी इंडेक्स को बेहतर बनाने हेतु ट्रैफिक जाम को कम करने के लिए सड़कों पर अधिक संख्या में यातायात पुलिसकर्मी तैनात किए जाएंगे, जिससे सिग्नल पर वाहनों की भीड़ कम हो सके। साथ ही बसों और मेट्रो सेवाओं को बढ़ाने का निर्देश भी जारी किया गया है। सार्वजनिक परिवहन में बढ़ोतरी प्रदूषण को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी, क्योंकि इससे निजी वाहनों के उपयोग में कमी आएगी।दिल्ली एनसीआर में बढ़ते प्रदूषण का प्रभाव अब केवल स्वास्थ्य तक सीमित नहीं रह गया है, बल्कि यह रोजमर्रा के कामकाज और आर्थिक गतिविधियों पर भी असर डाल रहा है। धुंध और विषाक्त वायु के कारण स्कूलों में अवकाश, निर्माण कार्यों पर रोक, और भारी वाहनों की आवाजाही पर प्रतिबंध, लोगों की दिनचर्या में बड़े बदलाव ला रहे हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि यदि समय रहते समाधान न किया गया, तो यह स्थिति आगामी सर्दियों में और गंभीर रूप धारण कर सकती है।
कार्यालयों के समय में बड़ा बदलाव
नए प्रावधानों के तहत ग्रैप-II में दिल्ली और गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और गौतमबुद्ध नगर के सरकारी कार्यालयों और नगर निकायों के समय में बदलाव किया जाएगा। यह परिवर्तन इस उद्देश्य से किया जाएगा कि भीड़भाड़ वाली सड़कें एक ही समय में अधिक दबाव का सामना न करें। समय-सारिणी में परिवर्तन से कार्यालय आने-जाने वालों की संख्या अलग-अलग समय में विभाजित होगी और ट्रैफिक की समस्या से राहत मिल सकेगी।
पर्यावरण संरक्षण और प्रशासनिक जिम्मेदारियों का विस्तार
इन संशोधनों से स्पष्ट है कि सरकार अब प्रदूषण की समस्या को केवल मौसमी या तात्कालिक समस्या के रूप में नहीं देख रही, बल्कि इसे एक दीर्घकालिक नीति के तहत नियंत्रित करने के संकल्प के साथ आगे बढ़ रही है। प्रदूषण नियंत्रण अब केवल दंडात्मक कार्रवाई तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि प्रशासन, जनता और उद्योगों की सामूहिक जिम्मेदारी के रूप में देखा जाएगा।