चंद्रपुर जिले के वरोरा नगर परिषद के पूर्व नगराध्यक्ष एवं भाजपा के पूर्व जिला सचिव अहतेशाम अली ने कांग्रेस में भव्य प्रवेश किया है। इस मौके पर उनके समर्थक भी उपस्थित रहे, जिससे स्पष्ट हुआ कि उनका जनाधार अब भी मजबूत है।
अहतेशाम अली की राजनीतिक यात्रा का आरंभ NSUI और युवक कांग्रेस से हुआ था। वर्ष 2014 में उन्होंने कांग्रेस छोड़कर भाजपा का दामन थामा और 2016 में वरोरा नगराध्यक्ष पद के लिए भाजपा से चुनाव जीतकर अपने नेतृत्व और लोकप्रियता का प्रमाण दिया। इस चुनाव में उन्होंने सबसे अधिक मत प्राप्त किए थे, जो उनकी जनप्रियता का संकेत है।
हालिया विधानसभा चुनाव में प्रदर्शन
हाल ही में संपन्न विधानसभा चुनाव में अहतेशाम अली ने 21,000 से अधिक मत प्राप्त कर अपने जनाधार और चुनावी पकड़ को दोबारा साबित किया। इस सफलता ने उनके राजनीतिक महत्व और क्षेत्रीय प्रभाव को और सशक्त किया।
कांग्रेस में वापसी और नेतृत्व का मार्गदर्शन
अहतेशाम अली ने इस बार कांग्रेस में वापसी का निर्णय राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के मार्गदर्शन तथा महाराष्ट्र प्रदेशाध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाळ के नेतृत्व से प्रेरित होकर लिया।
साथ ही, चंद्रपुर की सांसद प्रतिभाताई धानोरकर ने उनके प्रवेश में विशेष भूमिका निभाई।
आज नागपुर प्रेस क्लब में आयोजित समारोह में प्रदेशाध्यक्ष हर्षवर्धन सपकाळ और सांसद प्रतिभाताई धानोरकर की उपस्थिति में अहतेशाम अली का कांग्रेस में स्वागत किया गया। इस मौके पर पार्टी ने उन्हें पूरे सम्मान और गरिमा के साथ शामिल किया।
राजनीतिक रणनीति और क्षेत्रीय असर
अहतेशाम अली के कांग्रेस में प्रवेश से वरोरा-भद्रावती क्षेत्र सहित पूरे चंद्रपुर जिले में पार्टी की स्थिति मजबूत होने की संभावना बढ़ गई है।
विशेषज्ञों का मानना है कि उनके प्रवेश से कांग्रेस को न केवल स्थानीय जनाधार मिलेगा बल्कि आगामी चुनावों में पार्टी की रणनीति और संगठनात्मक ताकत भी बढ़ेगी।
उनकी वापसी से भाजपा को क्षेत्र में चुनौती मिल सकती है, क्योंकि अहतेशाम अली का जनसमर्थन अब भी व्यापक है। इससे आगामी चुनावों में सीटों के समीकरण बदल सकते हैं और पार्टी को स्थानीय स्तर पर नई ऊर्जा मिलेगी।
अहतेशाम अली की प्रतिक्रिया
इस अवसर पर अहतेशाम अली ने कहा:
“कांग्रेस के नेतृत्व और वरिष्ठ नेताओं से प्रेरित होकर मैंने इस बार वापसी का निर्णय लिया है। मेरा लक्ष्य है कि वरोरा और भद्रावती क्षेत्र में कांग्रेस को नई ताकत मिले और जनता के कल्याण के लिए काम किया जाए। मैं अपने समर्थकों और पार्टी के साथ मिलकर क्षेत्रीय विकास और जनहित के लिए सक्रिय रहूँगा।”
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि उनके लिए जनता की सेवा सर्वोपरि है और राजनीतिक निर्णय भी जनहित और संगठन की मजबूती को ध्यान में रखकर लिया गया है।
भविष्य की संभावनाएँ
अहतेशाम अली का कांग्रेस में प्रवेश न केवल राजनीतिक समीकरण बदल सकता है, बल्कि यह वरोरा-भद्रावती क्षेत्र में कांग्रेस की पकड़ को मज़बूत करेगा।
विशेषज्ञों का कहना है कि उनके सक्रिय नेतृत्व और जनप्रियता के कारण पार्टी आगामी चुनावों में बेहतर प्रदर्शन कर सकती है।
इस भव्य स्वागत से यह भी संकेत मिलता है कि कांग्रेस पार्टी स्थानीय नेताओं और समर्थकों के साथ रणनीतिक गठजोड़ को महत्व दे रही है।