Gold Silver Price: सोना-चांदी के बाजार में स्थिरता, निवेशकों की निगाह वैश्विक संकेतों पर
सोना और चांदी के बाजार में इस सप्ताह हल्की स्थिरता देखने को मिली है। निवेशक अमेरिकी और चीनी आर्थिक आंकड़ों पर नज़र रखे हुए हैं। भारतीय बाज़ार में मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर सोना ₹1,17,000 से ₹1,22,000 प्रति 10 ग्राम के दायरे में कारोबार कर रहा है। विशेषज्ञों का मानना है कि अमेरिकी आर्थिक अनिश्चितता और सरकारी शटडाउन के कारण सोने की कीमतों में तेज़ गिरावट नहीं देखी गई है।
सोने के भाव में सीमित उतार-चढ़ाव
JM फाइनेंशियल सर्विसेज़ के उपाध्यक्ष (कमोडिटी और करेंसी रिसर्च) प्रणव मेर के अनुसार, सोने की कीमतें फिलहाल सीमित दायरे में चल रही हैं। एक तरफ डॉलर की मजबूती और घरेलू बाज़ार में कमजोर मांग इसे ऊपर बढ़ने से रोक रही है, वहीं दूसरी ओर अमेरिकी अर्थव्यवस्था की अनिश्चितता ने गिरावट को सीमित किया है।
मेर का कहना है कि “अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट में पूर्व राष्ट्रपति ट्रंप के व्यापार शुल्कों की वैधता को लेकर होने वाली सुनवाई से सोने में अस्थिरता (Volatility) बढ़ सकती है।”
घरेलू बाज़ार में निवेशकों की रणनीति
एमसीएक्स पर दिसंबर डिलीवरी वाले सोने के वायदा भाव पिछले हफ्ते ₹165 यानी 0.14% गिरकर ₹1,21,067 प्रति 10 ग्राम पर बंद हुए।
एंजल वन के प्रथमेश मल्ल्या का कहना है, “MCX गोल्ड ₹1,17,000 से ₹1,22,000 के बीच कारोबार कर रहा है। कमजोर अमेरिकी जॉब डेटा, ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदें और केंद्रीय बैंकों की लगातार खरीद निकट भविष्य में सोने को सहारा दे रही हैं।”
उन्होंने आगे कहा कि “2025 में सोना 1979 के बाद अपनी सबसे बड़ी वार्षिक बढ़त दर्ज कर सकता है।”
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी स्थिरता का माहौल
Gold Silver Price: कॉमेक्स (Comex) पर दिसंबर डिलीवरी वाला सोना हफ्ते के दौरान $13.3 (0.33%) बढ़कर $4,009.8 प्रति औंस पर बंद हुआ।
एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज़ की रिसर्च एनालिस्ट रिया सिंह ने बताया, “सोना $4,000 के आसपास स्थिर बना हुआ है। अमेरिकी सरकारी शटडाउन और मिश्रित आर्थिक संकेतों के कारण बाजार में असमंजस की स्थिति बनी हुई है।”
हालांकि सोना अपने रिकॉर्ड उच्च स्तर $4,390 प्रति औंस से करीब 10% नीचे है, फिर भी इस वर्ष अब तक यह 50% से अधिक बढ़ चुका है। यह 1979 के बाद का सबसे मजबूत सालाना प्रदर्शन माना जा रहा है।
रिया सिंह ने बताया कि “फेडरल रिजर्व की ब्याज दरों में संभावित कटौती, केंद्रीय बैंकों द्वारा 600 टन से अधिक सोने की खरीद और ईटीएफ (ETF) में लगातार इनफ्लो ने कीमतों को मजबूत बनाए रखा है। हालांकि अक्टूबर के अंत में कुछ निवेशकों द्वारा मुनाफ़ा वसूली के कारण ईटीएफ से हल्का आउटफ्लो देखने को मिला था।”
चांदी का बाजार भी स्थिर, निवेशकों की सतर्कता बरकरार
चांदी की चाल भी सोने जैसी ही रही। MCX पर दिसंबर वायदा ₹559 (0.38%) गिरकर ₹1,47,728 प्रति किलोग्राम पर बंद हुआ, जबकि Comex पर चांदी $48.14 प्रति औंस रही।
रिया सिंह ने कहा, “चांदी $48 के ऊपर स्थिर बनी हुई है। अमेरिकी शटडाउन और फेड नीति में बदलाव की उम्मीदों ने इसे सहारा दिया है।”
दिलचस्प रूप से, अमेरिकी सरकार ने हाल ही में चांदी को अपने ‘क्रिटिकल मिनरल्स’ (महत्वपूर्ण खनिजों) की सूची में शामिल किया है। इससे वैश्विक व्यापार नीतियों और टैरिफ संरचना पर प्रभाव पड़ सकता है।
JM फाइनेंशियल के प्रणव मेर का कहना है कि “₹1,50,000–₹1,51,000 प्रति किलो के नीचे चांदी की चाल फिलहाल सुधारात्मक बनी हुई है, जबकि नीचे ₹1,39,300–₹1,38,000 के स्तर पर मजबूत सपोर्ट है।”
शादी सीजन में खरीदारों की उम्मीदें और बाजार की दिशा
भारत में नवंबर से शुरू हो रहे शादी के सीजन को देखते हुए सोने-चांदी की खरीद में तेजी आने की संभावना है। हालांकि दाम स्थिर रहने से ग्राहकों को थोड़ी राहत मिल सकती है। ज्वैलर्स का कहना है कि स्थिर भाव से बिक्री में सुधार होगा, जबकि निवेशक अभी भी दीर्घकालिक लाभ की उम्मीद में बने हुए हैं।
विश्लेषकों के अनुसार, अगर वैश्विक आर्थिक परिस्थितियां स्थिर रहती हैं, तो दिसंबर तक सोने के दामों में हल्की वृद्धि देखने को मिल सकती है।