पटना सीएम आवास के बाहर मची भगदड़, उम्मीदवारों की भीड़ से सुरक्षा व्यवस्था चरमराई
पटना, 14 अक्टूबर।
राजधानी पटना में सोमवार शाम मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सरकारी आवास के बाहर उस वक्त अफरातफरी मच गई, जब बड़ी संख्या में उम्मीदवार मिलने पहुंचे। बताया जा रहा है कि हज़ारों की भीड़ में अचानक भगदड़ मचने से कई लोग गिर पड़े और मौके पर अफरा-तफरी फैल गई। सीएम आवास के बाहर मौजूद सुरक्षाकर्मियों ने भीड़ को नियंत्रित करने की कोशिश की, लेकिन हालात कुछ देर के लिए बेकाबू हो गए।
नीतीश कुमार से मुलाकात की उम्मीद में पहुंचे थे उम्मीदवार
सूत्रों के अनुसार, राज्य के विभिन्न जिलों से आए सैकड़ों उम्मीदवार सीएम नीतीश कुमार से मुलाकात करने के उद्देश्य से उनके 1, अणे मार्ग स्थित सरकारी आवास पहुंचे थे। सभी उम्मीदवार यह उम्मीद लगाए बैठे थे कि मुख्यमंत्री से मुलाकात के बाद उन्हें आगामी विधानसभा चुनाव में टिकट को लेकर कोई आश्वासन मिलेगा। परंतु जब लंबे इंतज़ार के बाद भी सीएम आवास के अंदर प्रवेश की अनुमति नहीं मिली, तब भीड़ ने धैर्य खो दिया और वहां स्थिति बिगड़ गई।
सुरक्षा में तैनात जवानों ने संभाला मोर्चा
घटना के दौरान सुरक्षा में तैनात बिहार पुलिस और सीएम सुरक्षा बलों को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने बैरिकेडिंग लगाई और लोगों से शांत रहने की अपील की। कुछ उम्मीदवारों ने जबरन आगे बढ़ने की कोशिश की, जिससे हालात और बिगड़ गए। सुरक्षा कर्मियों ने आवास के गेट को तुरंत बंद कर दिया और भीड़ को धीरे-धीरे पीछे हटाया गया।
गोपाल मंडल भी मौके पर मौजूद, कहा – “किसी को नुकसान नहीं होना चाहिए”
जानकारी के मुताबिक, मुख्यमंत्री के करीबी विधायक गोपाल मंडल भी मौके पर मौजूद थे। उन्होंने लोगों से संयम बरतने की अपील की। मंडल ने कहा,
“लोग अपनी बात रखना चाहते हैं, लेकिन इस तरह भीड़ लगाना ठीक नहीं है। सरकार सभी की सुनवाई करेगी, लेकिन किसी को नुकसान नहीं होना चाहिए।”
गोपाल मंडल ने यह भी स्पष्ट किया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार स्थिति की जानकारी ले रहे हैं और उन्होंने प्रशासन को भीड़ को शांतिपूर्वक हटाने के निर्देश दिए हैं।
सिटी एसपी मौके पर पहुंचे, सुरक्षा बढ़ाई गई
मौके की गंभीरता को देखते हुए सिटी एसपी ने स्वयं पहुंचकर हालात का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि स्थिति अब नियंत्रण में है, और किसी प्रकार की अनहोनी नहीं हुई है। सीएम आवास के आसपास अतिरिक्त पुलिस बल तैनात कर दिया गया है ताकि किसी भी अप्रिय घटना को रोका जा सके।
भीड़ में कई उम्मीदवार बेहोश, कई के जूते-चप्पल छूटे
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, जब पुलिस ने भीड़ को पीछे हटाने की कोशिश की, तो कई लोग गिर पड़े। अफरातफरी में कई के जूते-चप्पल वहीं छूट गए। कुछ उम्मीदवारों को हल्की चोटें भी आईं, जिनका मौके पर प्राथमिक उपचार किया गया। हालांकि, किसी गंभीर रूप से घायल होने की खबर नहीं है।
राजनीतिक हलकों में मचा हड़कंप
घटना की खबर फैलते ही राजनीतिक गलियारों में हड़कंप मच गया। विपक्ष ने इस घटना को लेकर सरकार की “संगठनात्मक कुप्रबंधन” का परिणाम बताया है। विपक्षी नेताओं का कहना है कि अगर सीएम उम्मीदवारों से मुलाकात का कोई स्पष्ट कार्यक्रम जारी करते, तो इस तरह की अव्यवस्था नहीं होती।
नीतीश कुमार ने ली पूरी जानकारी
सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने घटना की जानकारी ली है और पुलिस प्रशासन को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि किसी भी पार्टी कार्यकर्ता या उम्मीदवार को नुकसान नहीं होना चाहिए। साथ ही यह भी सुनिश्चित करने को कहा गया है कि भविष्य में ऐसी स्थिति दोबारा न बने।
सुरक्षा एजेंसियों को मिले सख्त निर्देश
घटना के बाद मुख्यमंत्री सचिवालय ने सुरक्षा एजेंसियों को भीड़ नियंत्रण के नए उपायों पर काम करने के निर्देश दिए हैं। अब सीएम आवास के बाहर सुरक्षा घेरा और मजबूत किया जाएगा तथा भीड़ नियंत्रित करने के लिए नई बैरिकेडिंग और प्रवेश प्रणाली लागू की जाएगी।
निष्कर्ष: सुरक्षा और संवाद दोनों जरूरी
यह घटना यह दर्शाती है कि राजनीतिक संवाद के अभाव में अव्यवस्था किस प्रकार उत्पन्न हो सकती है। उम्मीदवारों की आकांक्षा और सुरक्षा दोनों का संतुलन बनाए रखना प्रशासन और राजनीतिक नेतृत्व की साझा जिम्मेदारी है। सरकार को जहां जनता से संवाद के बेहतर माध्यम तलाशने होंगे, वहीं उम्मीदवारों को भी संयम और अनुशासन का पालन करना चाहिए।