सोने के दामों में गिरावट, निवेशकों में सतर्कता का माहौल
देशभर में मंगलवार, 4 नवम्बर को सोने की कीमतों में हल्की गिरावट देखने को मिली। अंतरराष्ट्रीय बाजार में डॉलर की मजबूती और घरेलू मांग में कमी के कारण मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर सोने के भाव में लगभग 0.43% की गिरावट दर्ज की गई।
एमसीएक्स पर गिरा सोना और चाँदी
एमसीएक्स पर दिसंबर वायदा सोना ₹1,20,886 प्रति 10 ग्राम पर कारोबार करता देखा गया, जबकि चाँदी के दिसंबर अनुबंध ₹1,47,154 प्रति किलोग्राम तक फिसले। यह गिरावट पिछले सप्ताह के उच्चतम स्तर से लगभग ₹500 प्रति 10 ग्राम कम रही।
भारत के प्रमुख शहरों में आज के सोने और चाँदी के भाव (4 नवम्बर)
| शहर | 24 कैरेट सोना (₹/10 ग्राम) | 22 कैरेट सोना (₹/10 ग्राम) | एमसीएक्स सोना दर (₹/10 ग्राम) | चाँदी बुलियन दर (₹/किलो) | एमसीएक्स सिल्वर 999 दर (₹/किलो) |
|---|---|---|---|---|---|
| मुंबई | 1,20,940 | 1,10,862 | 1,20,770 | 1,47,230 | 1,47,025 |
| पुणे | 1,21,010 | 1,10,926 | 1,20,770 | 1,47,350 | 1,47,025 |
| दिल्ली | 1,20,810 | 1,10,743 | 1,20,770 | 1,47,040 | 1,47,025 |
| कोलकाता | 1,20,860 | 1,10,788 | 1,20,770 | 1,47,100 | 1,47,025 |
| अहमदाबाद | 1,21,130 | 1,11,036 | 1,20,770 | 1,47,440 | 1,47,025 |
| बेंगलुरु | 1,21,070 | 1,10,981 | 1,20,770 | 1,47,360 | 1,47,025 |
| हैदराबाद | 1,21,030 | 1,10,944 | 1,20,770 | 1,47,240 | 1,47,025 |
| चेन्नई | 1,21,190 | 1,11,091 | 1,20,770 | 1,47,440 | 1,47,025 |
दीर्घकालिक निवेश के लिए सोना बना लोकप्रिय विकल्प
पिछले दो दशकों में सोने की कीमतों में लगभग 1,200% की वृद्धि हुई है। वर्ष 2005 में ₹7,638 प्रति 10 ग्राम से बढ़कर 2025 में ₹1,25,000 प्रति 10 ग्राम तक पहुंचना निवेशकों के लिए सकारात्मक संकेत रहा है। इस वर्ष सोने ने 56% वार्षिक लाभ दिया है, जिससे यह 2025 के शीर्ष प्रदर्शन करने वाले निवेश विकल्पों में शामिल हो गया है।
घरेलू मांग और वैश्विक प्रभाव
त्योहारी सीजन के समाप्त होने और अंतरराष्ट्रीय बाजार में डॉलर के मजबूत होने से सोने की कीमतों में दबाव बना हुआ है। विशेषज्ञों के अनुसार, आने वाले दिनों में वैश्विक आर्थिक संकेतकों और फेडरल रिजर्व की नीतियों पर सोने की दिशा निर्भर करेगी।
खुदरा ग्राहकों के लिए सावधानी
खुदरा ग्राहकों को ध्यान देना चाहिए कि ज्वेलर्स आमतौर पर मेकिंग चार्ज, टैक्स और जीएसटी जोड़ते हैं, जिससे अंतिम बिल कीमतें बाजार दर से अधिक हो सकती हैं।
अस्वीकरण: यह लेख केवल शैक्षिक उद्देश्यों के लिए है। ऊपर व्यक्त विचार और सिफारिशें व्यक्तिगत विश्लेषकों या ब्रोकिंग कंपनियों के हैं, राष्ट्रभारत के नहीं। हम निवेशकों को सलाह देते हैं कि किसी भी निवेश निर्णय से पहले प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श अवश्य करें।