Delhi Blast: दिल्ली ब्लास्ट साजिश की परतें खुलीं, मसूद अजहर की बहन के संपर्क में थी शाहीन, भारत में महिला आतंकी ब्रिगेड बनाने की थी योजना
नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली के लाल किले के पास हुए धमाके के बाद जांच एजेंसियों ने आतंक नेटवर्क के नए तारों का खुलासा किया है। फरीदाबाद से गिरफ्तार की गई डॉ. शाहीन ने जांच में कई हैरान करने वाले तथ्य बताए हैं। वह जैश-ए-मोहम्मद की महिला विंग की प्रमुख रही है और मसूद अजहर की बहन सहीदा अजहर के सीधे संपर्क में थी। शाहीन को भारत में महिला आतंकी ब्रिगेड खड़ी करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी।
शाहीन की गिरफ्तारी से खुला जैश नेटवर्क का रहस्य
शाहीन मूल रूप से लखनऊ की रहने वाली है और हरियाणा की अलफलाह यूनिवर्सिटी में कार्यरत थी। उसे सोमवार को फरीदाबाद से जम्मू-कश्मीर पुलिस ने गिरफ्तार किया। यह गिरफ्तारी उसके कथित प्रेमी और पहले से गिरफ्तार आतंकी डॉ. मुजम्मिल की निशानदेही पर हुई। जांच में यह भी सामने आया कि शाहीन ने ही मुजम्मिल की कार में AK-47 छिपाने की अनुमति दी थी। इससे यह साफ हो गया कि वह भी उसी आतंकी नेटवर्क का हिस्सा थी।
मसूद अजहर की बहन सहीदा से सीधे संपर्क में थी शाहीन
जांच एजेंसियों के अनुसार, शाहीन का संपर्क जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर की बहन सहीदा अजहर से था। सहीदा ने शाहीन को भारत में “जमात-उल-मोमिनात” नामक संगठन के माध्यम से महिला आतंकियों का एक अलग विंग तैयार करने का निर्देश दिया था। इस संगठन का उद्देश्य महिलाओं को धार्मिक आवरण में आतंक के लिए तैयार करना था।
महिला ब्रिगेड का उद्देश्य और भारत में फैलता नेटवर्क
शाहीन का मिशन भारत के प्रमुख शहरों में महिलाओं को वैचारिक रूप से प्रभावित करना था। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के जरिए वह मुस्लिम युवतियों से संपर्क साधती थी। उन्हें “धार्मिक नारी सशक्तिकरण” के नाम पर आतंक की राह पर लाने की कोशिश की जा रही थी। जांच एजेंसियों के अनुसार, दिल्ली, लखनऊ और फरीदाबाद में शाहीन के कई संपर्क सूत्र सक्रिय थे।
अलफलाह यूनिवर्सिटी में मचा हड़कंप, पुलिस जांच में जुटी
Delhi Blast: फरीदाबाद स्थित अलफलाह यूनिवर्सिटी में शाहीन की गिरफ्तारी के बाद हड़कंप मच गया। दिल्ली पुलिस और क्राइम ब्रांच की टीमें वहां पहुंचीं और कई घंटे तक कैंपस की जांच की। सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं ताकि यह पता लगाया जा सके कि शाहीन की मुलाकात किन लोगों से होती थी और क्या यूनिवर्सिटी में कोई और इस नेटवर्क से जुड़ा हुआ था।
आतंकी फंडिंग और अंतरराष्ट्रीय लिंक पर भी जांच
जांच एजेंसियां अब यह पता लगाने में जुटी हैं कि शाहीन को फंडिंग कहां से मिल रही थी। प्रारंभिक जांच में पाकिस्तान और दुबई के कुछ खातों से आर्थिक सहायता के संकेत मिले हैं। एनआईए (राष्ट्रीय जांच एजेंसी) इस दिशा में जल्द ही विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर सकती है।
राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसियां सतर्क, दिल्ली में बढ़ाई गई निगरानी
दिल्ली पुलिस और केंद्रीय खुफिया एजेंसियों ने इस खुलासे के बाद सुरक्षा को लेकर सतर्कता बढ़ा दी है। लाल किला, इंडिया गेट और संसद भवन के आसपास सुरक्षा घेरा और कड़ा किया गया है। साथ ही, दिल्ली के प्रमुख मेट्रो स्टेशनों और बाजारों में भी चेकिंग अभियान तेज कर दिए गए हैं।
दिल्ली ब्लास्ट ने यह स्पष्ट कर दिया है कि अब आतंकवादी संगठन महिलाओं को भी अपने मिशन में शामिल कर रहे हैं। शाहीन का मामला इस दिशा में एक गंभीर चेतावनी है कि आतंक अब लैंगिक सीमाओं से परे जा चुका है। भारत की सुरक्षा एजेंसियों के सामने यह नई चुनौती है कि इस तरह के “सॉफ्ट टार्गेट” नेटवर्क को शुरुआती स्तर पर कैसे रोका जाए।